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बुधवार, 9 फ़रवरी 2022

अँग्रजों ने छिन्न-भिन्न किया भारत के सामाजिक ताने-बाने को The British Destroyed The Social Fabric Of India


-शीतांशु कुमार सहाय

आज नौ फरवरी है, मेरा जन्मदिन। अतः मैंने सोचा कि आज कुछ ऐसा लिखा जाये जिसे मेरे प्यारे मित्र वास्तव में पढ़ें और ज्ञान में वृद्धि करें। 

मित्रों! सभी जानते हैं कि भारत ने विश्व को कई अमूल्य उपहार दिये हैं। इन उपहारों में एक है अध्यात्म-विज्ञान जो सब के कल्याण का कारक है- शारीरिक रूप से भी और आध्यात्मिक रूप से भी। जिस समय कृत्रिम उपग्रहों का आविष्कार नहीं हुआ था, उस समय ही अर्थात् हज़ारों वर्षों पूर्व हमारे मनीषियों ने कई आकाशीय पिण्डों की पृथ्वी से दूरी और उन की गति आदि के बारे में बताया था जो आज भी आधुनिक विज्ञान की कसौटी पर खरा है। नौ ग्रहों का पृथ्वी और इस पर रहनेवाले जीवों पर प्रभाव आदि का विश्लेषण हज़ारों वर्षों पूर्व ही किया गया। 

साथ ही समाज का ताना-बाना इस प्रकार बुना गया था जिस में सार्वजनिक धन का समाज में इतना समान वितरण था कि कोई भिखारी यहाँ नहीं था। सब के हाथ में रोज़गार था, सभी हुनरमन्द थे, सभी ज्ञानवान थे, सभी सामाजिक व राजकीय नियमों को पूर्णतः माननेवाले सभ्य और उच्च आचरणवान नागरिक थे। कार्य के अनुसार वर्ण-व्यवस्था होने के बावजूद जातिगत या धर्मगत वैमनस्यता नहीं थी। ऐसे ही गुणों ने भारत को विश्वगुरु की संज्ञा दिलायी। यही गुण अँग्रेजों को रास न आया और उन्होंने यहाँ अपने शासन को मजबूत करने के लिए अपने कई विशेषज्ञों से सर्वेक्षण कराया जिन में एक था मैस्क्युले। उस ने भारत भ्रमण के बाद सन् १८३५ ईश्वी में ब्रिटिश सरकार को अपनी रिपोर्ट पेश की। रिपोर्ट का एक अंश.... 

 ''मैं भारत के कोने-कोने में घूमा हूँ। मुझे एक भी व्यक्ति ऐसा नहीं दिखायी दिया जो भिखारी हो, चोर हो। इस देश में मैं ने इतनी धन-दौलत देखी है, इतने ऊँचे चारित्रिक आदर्श, गुणवान मनुष्य देखे हैं कि मैं नहीं समझता हम इस देश को जीत पायेंगे, जब तक इस की रीढ़ की हड्डी को नहीं तोड़ देते जो है-- इस की आध्यात्मिक संस्कृति और इस की विरासत! इसलिए मैं प्रस्ताव रखता हूँ कि हम पुरातन शिक्षा व्यवस्था और संस्कृति को बदल डालें; क्योंकि यदि भारतीय सोचने लगें कि जो भी विदेशी है और अँग्रेजी है, वही अच्छा है और उन की अपनी चीजों से बेहतर है तो वे आत्म-गौरव और अपनी ही संस्कृति को भुलाने लगेंगे और वैसे बन जायेंगे जैसा हम चाहते हैं। एक पूरी तरह से दमित देश!''

आज वास्तव में स्थिति यह है कि जो हिन्दी या अन्य भारतीय भाषा बोलता है, उसे भारत के ही लोग अंग्रेजी बोलनेवालों की अपेक्षा कमतर आँकते हैं। भारतीय अपने समृद्ध अतीत पर गौरवान्वित नहीं होते; विदेशियों की बात पर विश्वास करते हैं। 

सोमवार, 7 फ़रवरी 2022

नर्मदा स्तुति व मन्त्र Narmada Stuti & Mantra

पवित्र नर्मदा नदी

प्रस्तोता : शीतांशु कुमार सहाय
     माघ महीने में शुक्ल पक्ष की सप्तमी तिथि को भगवान शिव के आदेश और आशीर्वाद से नदी के रूप में नर्मदा का पृथ्वी पर अवतरण हुआ। अमरकंटक पर्वत से निकलकर यह पूर्व दिशा में प्रवाहित होती हुई मध्यप्रदेश और गुजरात के पार अरब सागर में मिल जाती है। गंगा की तरह नर्मदा भी देवी के रूप में पूजित हैं। यहाँ 'नर्मदा स्तुति' और 'नर्मदा मन्त्र' प्रस्तुत है। इन का पाठ और जप कल्याणकारी है। 

नर्मदा स्तुति 

नम: पुण्यजलेआद्येनम: सागरगामिनि।
नमोऽस्तुतेऋषिगणै: शंकरदेहनि:सृते।
नमोऽस्तुते धर्मभृतेवरानने नमोऽस्तुते देवगणैकवन्दिते।
नमोऽस्तुते सर्वपवित्रपावने नमोऽस्तुते सर्वजगत्सुपूजिते।।१।।

पुण्या कनखले गंगा कुरुक्षेत्रे सरस्वती।
ग्रामेवा यदि वारण्ये पुण्या सर्वत्र नर्मदा।
त्रिभि: सारस्वतं पुण्यं सप्ताहेनतुयामुनम्।
सद्य:पुनातिगाङ्गेयं दर्शनादेवनर्मदाम्। कनकाभांकच्छपस्थांत्रिनेत्रांबहुभूषणां।
पद्माभय: सुधाकुम्भ: वराद्यान्विभ्रतींकरै:।।२।।

नर्मदा मंत्र

ऐं श्रीं मेकल-कन्यायै सोमोद्भवायै देवापगायै नम:।*

शनिवार, 5 फ़रवरी 2022

सरस्वती वन्दना Saraswati Vandana



 -शीतांशु कुमार सहाय

विद्या की देवी माँ सरस्वती के पावन चरणों में नमस्कार है। वसन्त पंचमी के अवसर पर कीजिये उन की आराधना! आइये इस मंत्र से उन की उपासना करें.....  

या कुन्देन्दु तुषारहार धवला या शुभ्रवस्त्रावृता।
या वीणावरदण्डमण्डितकरा या श्वेतपद्मासना ।।
या ब्रह्माच्युतशंकरप्रभृतिभिर्देवैः सदा वन्दिता।
सा मां पातु सरस्वती भगवती निःशेषजाड्यापहा ।।१।।

शुक्लां ब्रह्मविचारसारपरमाद्यां जगद्व्यापिनीं ।
वीणा-पुस्तक-धारिणीमभयदां जाड्यान्धकारपहाम्।।
हस्तेस्फाटिकमालिकां विदधतीं पद्मासने संस्थिताम् ।
वन्दे तां परमेश्वरीं भगवतीं बुद्धिप्रदां शारदाम्।।२।।

विसर्जन : जल में क्यों विसर्जित करते हैं देव प्रतिमाओं को Why Do Gods Immerse Idols In Water?



  -शीतांशु कुमार सहाय 
    आखिर देवी-देवताओं की प्रतिमाओं को जल में ही क्यों विसर्जित कर दिया जाता है? 
     शास्त्रों के अनुसार जल ब्रह्म का स्वरूप माना गया है; क्योंकि सृष्टि के आरंभ में और अंत में संपूर्ण सृष्टि में सिर्फ जल ही जल होता है। जल बुद्घि और ज्ञान का प्रतीक माना जाता है। इस के देवता गणपति को माना गया है। जल में ही श्रीहरि का निवास है, इसलिए जल को नारायण भी कहते हैं। 
     माना जाता है कि जब जल में देव प्रतिमाओं को विसर्जित किया जाता है, तो देवी-देवताओं का अंश मूर्ति से निकलकर वापस अपने लोक को चला जाता है यानी परब्रह्म में लीन हो जाता है। यही कारण है कि मूर्तियों और निर्माल को जल में विसर्जित किया जाता है।

मंगलवार, 1 फ़रवरी 2022

Indian Union Budget 2022-23 Highlights भारत के केन्द्रीय बजट २०२२-२३ की मुख्य बातें


Union Finance Minister of India Mrs. Nirmala Sitharaman presented the Union Budget for the financial year 2022-23 on Tuesday, 1 February 2022. She reached the Lok Sabha with a tab in a red cloth and presented a completely paperless digital budget. Here are the highlights of the budget...

·  Government to simplify customs rate for sectors including chemicals.

·   To give duty concessions for some electronics manufacturer.

·     Lower duty some chemicals.

·  Revokes anti dumping duty for some steel products.  

· Government to cap surcharge on Long term capital gains at 15%.

·   Government extends tax incentive for startups up to March 2023.

·   Tax gift of virtual digital asset.

· Government to tax income from Virtual digital assets transfer at 30%.

·  Government proposes more reforms in direct tax regime. Government to allow new provision to update return for tax payers.

·  Proposes new plan to file updated income tax return.

·  Proposes cut in alternate minimum tax for Cooperate society, MAT reduce to 15%.

·  Fiscal deficit in FY22 gap 6.9% of GDP vs 6.8% goal.

·  Fiscal deficit in FY23 gap 6.4% of GDP.  

·  Digital rupee to be introduced by central bank in FY 23 to be backed by block chain technology.

· Government plans Rs. 1 trln. assistance to states borrowing plans.

· Proposes Rs. 7.5 trln. on capital allocation.

· Proposes Rs. 10.6 trln. on effective capital expenditure.

·  To allow to set up international arbitration center in gift city.

·   Give data centers as infra status.  

· Rs 6,000 crore programme to rate MSMEs will be  rolled out over the next five years, Finance Minister Nirmala Sitharaman said on Tuesday, February 1, 2022.

· As part of initiatives to promote digital infrastructure, a desh stack e-portal will be launched, union financs minister noted in her presentation of the Union Budget for 2022-23.

·  Startups will be promoted for Drone Shakti.

·   Government SEZs act to be replaced with new law, new law to boost exports competitiveness.

·  To open up defense R&D for startup, academia, industry.

·   65% of defense capex  to be kept for local companies.

· To promote public transports in urban areas.

·    Plans battery swapping policy.

·  Budget would continue to provide impetus to  growth.

· The economic recovery is benefitting from public investments and capital spending, she said in her Budget 2022-23 speech.

· Added that inclusive development, productivity enhancement, energy transition and climate action are four pillars of development.

·   Sitharaman noted that the PM Gati Shakti master plan is based on seven engines of growth.  

·   Government to get all Post office on core banking systems in 2022.

·  Plans to digital University to provide access to school.

·  Drinking water projects allocated Rs. 60,000 crore.

. Housing projects allocated Rs. 48,000 crore.

·  ECLGS scheme to have Rs5tn total cover.

· To promote startups for Drone making.  

·   Plans to cut dependence on oil seed imports.

·   Urban transport to be connected to railways.

·   Plans find for farm startups under Nabard.

·  Plans expansion of water supply projects.  

· Rail, POST to work together on logistic.

·   To make new Vande Bharat trains in 3 years.

·   100 cargo terminals in 3 years.

·    Economy is seen growing at 9.2 per cent in the current fiscal, finance minister Nirmala Sitharaman said while presenting the Union Budget.

·    Plans to cut dependence on oil seed imports.

·     Infrastructure, logistic key areas of India focus.

·  Highways to expanded by 25,000 KMS by 23.

·    Promoting digital economy, fintech among the government focus, committed to strengthening abilities of poor.

·  Make in India can create 60 lakh new jobs, Public issue of LIC is expected shortly.