-4500 करोड़ रुपये की लागत से देश में बनेंगे 73 सुपर कंप्यूटर
-शीतांशु कुमार सहाय
मोदी सरकार ने सूचना तकनीक के माध्यम से आम जनता की शिकायतें दूर करने के लिए प्रगति नाम की एक नई प्रणाली शुरू की है। यहाँ PRAGATI का मतलब (प्रो एक्टिव गवर्नेंस एंड टाइमली इंप्लीमेंटेशन) है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार 25 मार्च 2015 को इस प्रणाली का शुभारंभ नई दिल्ली में किया। प्रगति एक इंट्रेक्टिव ऑनलाइन प्लेटफार्म है जिसके जरिए न सिर्फ शिकायतों की सुनवाई होगी; बल्कि उनका समाधान और सरकारी योजनाओं की निगरानी भी की जा सकेगी। इसके अलावा केंद्रीय मंत्रिमंडल ने राष्ट्रीय ई-गवर्नेस प्लान (एनईजीपी) के अगले चरण ‘ई-क्रांति’ को भी मंजूरी दे दी है। इसके जरिए कई प्रकार की सरकारी सेवाएं ऑनलाइन मुहैया कराने पर जोर दिया जाएगा। प्रगति की लांचिंग के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बेमौमस बारिश से किसानों को हुए नुकसान, परियोजनाओं के कार्यान्वयन की स्थिति, स्वच्छ भारत अभियान समेत कई मुद्दों पर चर्चा की। करीब दो घंटे चले इस कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री ने 20 से ज्यादा लोगों की शिकायतें सुनी और संबंधित अधिकारियों को कार्रवाई के निर्देश दिए। प्रधानमंत्री हर महीने के चौथे बुधवार 3.30 बजे प्रगति के जरिए मंत्रालय के सचिवों और राज्यों के मुख्य सचिवों के साथ कॉन्फ्रेन्स करेंगे। इस आयोजन को प्रगति दिवस नाम दिया गया है।
-तीन तकनीकों पर आधारित जन शिकायत प्रणाली
प्रगति नाम की जन शिकायत प्रणाली डिजिटल डेटा मैनेजमेंट, वीडियो कॉन्फ्रेन्सिंग और जिओ-स्पेशियल तकनीकों की मदद से तैयार की गई है। इसके जरिए केंद्र और राज्य सरकार के मंत्रियों और अधिकारियों के बीच सीधा संपर्क हो सकेगा। इसमें संबंधित मुद्दों से जुड़ी पूरी जानकारी, डेटा, विजुअल और ग्राउंड रिपोर्ट भी रहेगी। केंद्र और राज्य सरकारों को मिलाकर टीम इंडिया बनाने की दिशा में यह मोदी सरकार का अहम कदम साबित हो सकता है।
-प्रगति (PRAGATI) के तीन स्तर
इस आधुनिक शिकायत निवारण प्रणाली के जरिए जनता की शिकायतों की सुनवाई और उनके समाधान के अलावा सरकारी योजनाओं के कार्यान्वयन और परियोजनाओं की समीक्षा की जा सकती है। यह सिस्टम तीन स्तर पर काम करेगा जिससे प्रधानमंत्री कार्यालय, मंत्रालयों के सचिव और राज्यों के मुख्य सचिव जुड़े रहेंगे। प्रगति पर आनेवाली शिकायतों और समस्याओं पर संबंधित मंत्रालय और राज्य सरकार कार्रवाई का ब्योरा भी उपलब्ध कराएंगी।
-ई-गवर्नेंस प्लान की जगह लेगी ‘ई-क्रांति’
25 मार्च 2015 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केन्द्रीय मंत्रिमण्डल की हुई बैठक में ई-क्रांति के नाम से राष्ट्रीय ई-गवर्नेस प्लान (एनईजीपी) के अगले चरण को मंजूरी दी गई। इसके जरिए आम जनता को शिक्षा, कृषि, स्वास्थ्य और सुरक्षा संबंधी कई सेवाएँ ऑनलाइन उपलब्ध कराई जाएंगी। सरकार ने 4500 करोड़ रुपये की लागत से देश में 73 सुपर कंप्यूटर बनाने का फैसला किया है। इसके लिए सुपर कंप्यूटिंग मिशन को मंजूरी दी गई है।
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